जांजगीर चांपा

कई एकड़ निजी जमीन बेच अनाथ बच्चों की सेवा करने वाले केशव सिंह राठौर हुए सामाजिक विभूति 2023 से सम्मानित।

@ब्यूरो रिर्पोट जाज्वल्य न्यूज हिम्मत सच कहने की,जांजगीर–चांपा।

जांजगीर — छत्तीसगढ़ सक्रिय पत्रकार संघ जांजगीर चाम्पा इकाई द्वारा आयोजित पत्रकार सम्मेलन गोष्ठि एवम अलंकरण समारोह 2023 का सफल आयोजन चाम्पा हॉटल रंगमहल में आयोजित की गई। तिलक सेवा संस्थान अफरीद छत्तीसगढ के संस्थापक केशव सिंह राठौर को सामाजिक विभूति सम्मान से नवाजा गया साथ ही जरूरत मंद बच्चो की सेवा कार्य के लिए उपस्थित लोगों ने अभिवादन किया ।।कार्यक्रम का शुभारंभ माँ भगवती के तैल चित्र एवम पत्रकार जगत के पुरोधा माधव राव सप्रे की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित के साथ प्रारम्भ हुआ अतिथि के रूप में प्रमुख रूप से स्वाधीनता आंदोलन में पर्दे के पीछे अनगिनत किरदारों की गवाही को अपने दस्तावेजों में दर्ज करने वाले देश के ख्यातिनाम वरिष्ठ पत्रकार ,भारत सरकार के सर्वोच्च सम्मान पद्मश्री से सम्मानित विजय दत्त श्रीधर(संस्थापक, माधवराव सप्रे समाचार संग्रहालय एवं शोध संस्थान भोपाल) , इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के जनक राज्यसभा टेलीविजन दिल्ली के पूर्व एक्जिक्यूटिव डायरेक्टर राजेश बादल,नेशनल फेडरेशन आफ मीडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं मध्य प्रदेश वर्किग जर्नलिस्ट यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष राधावल्लभ शारदा , उड़ीसा राज्य में हिंदी पत्रकारिता के जनक डा. सुशील दाहिमा (वरिष्ठ पत्रकार, साहित्यकार, कवि एवं कथाकार उड़ीसा), डा.सतीश जायसवाल, वरिष्ठ पत्रकार एवं साहित्यकार, सुभाष त्रिपाठी, संपादक दैनिक बयार रायगढ़, महाराष्ट्र वर्किग जर्नलिस्ट यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष निशांत भाई कांबले, डा.शाहिद अली, विभागाध्यक्ष, कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय रायपुर छत्तीसगढ़ शामिल हुए।

केशव ने कहा सेवा से मिलती है आत्मिक शांति

सामाजिक विभूति सम्मान समारोह में शामिल केशव सिंह राठौर ने बताया दीन-दुखियों की सेवा करने से जिस आत्मिक शांति की प्राप्ति होती है वह किसी यज्ञ से भी नहीं प्राप्त होता है । कलियुग में सेवा से बड़ा कोई धर्म नही । दुखियों की सेवा करके और गरीबों की सहायता करने से आत्मिक शांति मिलती है क्षमता अनुसार इस कार्य को राष्ट्र के प्रत्येक ब्यक्ति को करना चाहिए । आपको बता दे राठौर अपनी पुस्तैनी जमीन को बेचकर 9 वर्षो से जरूरत मंद बच्चो की पढ़ाई लिखाई आवास की बेवस्था कर रहे है। समाज के लोग भी अब धीरे धीरे उनके इस परोपकारी कार्य से जुड़ने लगे है और संस्थान में सहयोग करने आगे आ रहे है ।ज्ञात हो की पूर्व में कई एकड़ जमीन बेच अनाथ बच्चों के पालन पोषण में लगा चुके हैं।

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